
धारा 80RRB में कर कटौती क्या है और यह कैसे कि जानी चाहिये l
पेटेंट पर रॉयल्टी क्या है l
पेटेंट एक अनूठा आविष्कार है जो किसी व्यक्ति द्वारा किया जाता है।आविष्कार करने वाले व्यक्ति को पेटेंटि कहा जाता है यह पेटेंट कभी-कभी अपनी तकनीक द्वारा किसी व्यवसाय के लिए आविष्कार प्रदान करता है जो किसी भी साम्रगी का निर्माण करते हैं बदले में होने वाले लाभ का यह हिस्सा पेटेंट पर रॉयल्टी कहलाता है l
धारा 80RRB के तहत इस कटौती के लिए केवल निम्न में से कोई एक आवश्यक होना चाहिये :-
- एक भारतीय निवासी होना चाहिये l
- एक पेटेंट/लायसेंस धारक होना चाहिये l
- जो की पेटेंट/लायसेंस अधिनियम, 1970 के तहत पेटेंट पंजीकृत हो l
इसलिए यह कटौती निम्न के लिए लागू नहीं है l
- गैर निवासी l
- व्यक्ति के अलावा अन्य प्रार्थी/अभ्यर्थी l (जैसे एचयूएफ, साझेदारी, कंपनियां)
पेटेंट/लायसेंस पर रॉयल्टी के रूप में प्राप्त होने वाली आय पर कटौती :-
आयकर अधिनियम, 1961 की धारा 80RRB के तहत, एक पेटेंट/लायसेंस पर किसी व्यक्ति द्वारा प्राप्त आय में कटौती के लिए योग्य है। एक व्यक्ति को पेटेंट/लायसेंस पर आय के अलावा अन्य स्रोतों से भी आय प्राप्त हो सकती है लेकिन केवल पेटेंट/लायसेंस पर रॉयल्टी के रूप में प्राप्त आय कर कटौती के लिए योग्य है ऐसी आय पर 3,00,000 रुपये तक की कटौती का दावा कर सकते है। यदि किसी की आय कम है, तो उसे वास्तविक आधार पर कटौती की अनुमति होगी।
उदा:- एक आविष्कारक जो की विदेशी स्रोतों से रॉयल्टी कमाता है, वह कटौती का दावा कर सकता है, लेकिन पिछले साल के अंत से लगभग छह महीने का समय की अवधि जिसमें से आय प्राप्त हुई थी। पेटेंट धारक जो निपुण सबूत प्रस्तुत करने में असमर्थ हैं, वे स्वयं उस स्थिति में पा सकते हैं जहां उनकी कटौती से इनकार नहीं किया जाता है।
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